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Q&A
12:02 PM | 19-05-2020

Hi, I m 35 years old. I m suffering from ankylosing spondylitis. I have a pain in my back, stiffness, tingling and much more. Because of this I am suffering from vertigo, arms and legs pain, headache and weakness also.. M suffering from gallbladder stone,hemorrhoids, sinus.... Plz suggest me what to do!

The answers posted here are for educational purposes only. They cannot be considered as replacement for a medical 'advice’ or ‘prescription’. ...The question asked by users depict their general situation, illness, or symptoms, but do not contain enough facts to depict their complete medical background. Accordingly, the answers provide general guidance only. They are not to be interpreted as diagnosis of health issues or specific treatment recommendations. Any specific changes by users, in medication, food & lifestyle, must be done through a real-life personal consultation with a licensed health practitioner. The views expressed by the users here are their personal views and Wellcure claims no responsibility for them.

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4 Answers

01:09 PM | 20-05-2020

Hello User,

We can definitely understand that you are going through a lot of problems in this time but as your disease is multidimensional you need to be taken care of with individual treatment. The best thing to do is to contact our forum and individual diet is what will help you in this.

You can contact Wellcure forum to get a healthy nutritious diet and regime in order to be helped.

Hopefully, this suggestion will help,

Thank you



04:32 PM | 20-05-2020

Hello,

Our internal well being determines our outer health. If we are healthy from inside, then it reflects outside. A healthy metabolism and digestion is the key to a healthy body and mind. Disturbed metabolism leads to the accumulation of toxins which in turn results in various diseases. All your health issues are inter-related to each other. 

What to do-

  • Avoid continuous sitting. 
  • Maintain a correct sitting posture. Make sure that your backbone is straight. 
  • Apply hot pack on the areas of pain.
  • Sit in a warm water bath tub.
  • Put two drops of sesame oil in each of your nostrils every morning. 

Diet

  • Start your day with 2-3 glasses of warm water. This will help to improve the metabolism. 
  • Avoid dairy products like ghee, milk, paneer, curd and also animal foods. 
  • Eat only plant based natural foods. 
  • Drink sufficient  water during the day. 
  • Drink coconut water.
  • Have salads, sprouts, seasonal and fresh fruits, beans, nuts in your diet.

Physical work

  • Being physically active is very essential for a good blood circulation in the whole body.
  • Start the day with a morning walk of atleast 30minutes. 
  • Do skipping for 5 minutes.
  • Perform 12 sets of suryanamaskar. 
  • Do pranayam like anulom-vilom, kapalbhati, bhastrika.

Sleep

Sleep affects our circadian rhythm which had to be maintained for the well being of the body. Hence, the sleep quality and duration matters a lot.

Sleep early at night at around 10 pm and also wake up early in the morning at around 6 am. Sleep for atleast 7-8 hours daily. 

Thank you.



01:07 PM | 19-05-2020

Namaskar!

Thanks for sharing your concern with us! 

Ankylosing spondylitis is a kind of arthritis associated with inflammation of joints of the spine. It can indeed be a very painful condition! Let us try understanding the cause of this condition. As per Nature Cure, the human body works towards maintaining its pH or acid-alkaline balance. It functions optimally when the pH of the blood is slightly alkaline (around 7.36-7.42). However, wrong lifestyle choices like unnatural food, overwork without adequate rest, wrong thinking, stress, not taking in enough sunlight and fresh air and sedentary lifestyle etc. result in built-up of acidic residues. Body tries to restore the alkalinity of the blood by leaching calcium from bones. This results in weakening of bones and joints along with inflammation and pain. In fact, pain is the body's indication that something is out of sync and needs corrective action!

Please know that the body has self healing powers and ability to reverse disease and painful conditions. As you start aligning your body to the laws of nature you would be surprised to see how your body starts responding by eliminating toxins and restoring balance. You can also explore our Nature-Nurtures Program that can help her in making the transition, step by step. Our Natural Health Coach will look into your routine in a comprehensive way and give you an action plan. She/he will guide you to correct your existing routine & make it in line with Natural Laws. Please let us know if you are keen to explore. 

In the meanwhile, here are some resources available on our platform, you may want to explore:

  1. Blogs:

  2. Health Journeys of people who successfully recovered from ankylosing spondylitis naturally

We wish you luck on your way to pain-free life!

Team Wellcure



01:14 PM | 20-05-2020

हेलो,
कारण - अनियमित खानपान और अनियमित जीवनशैली के कारण एंकायलूजिंग स्पॉन्डिलाइटिस  का, जो की एक ऑटोइम्यून बीमारी है।  एक दीर्घकालिक संधिशोथ और स्वक्षम रोग है। यह रोग मुख्यतया मेरू-दण्ड या रीढ़ के जोड़ों और श्रोणि में त्रिकश्रोणिफलक को प्रभावित करता है। शरीर के किसी भी हिस्से में दर्द का मुख्य कारक होता है शरीर में बढ़ा हुआ अम्ल शरीर का हाजमा खराब होने पर हमारे शरीर में अम्ल की अधिकता हो जाती है शरीर में अम्ल की अधिकता होने पर रक्त संचार में कमी आती है और यह दर्द का कारक बनता है। जीवनशैली में परिवर्तन लाने से इसमें सुधार हो सकता है सुधार मेंं 8 से 10 महीने समय लग सकता है।

समाधान- 1. ऐसा खाना जो कि देर तक पछता नहीं है उसका त्याग करें। जैसे दूध, गेहूं, मैदा, रिफाइंड नमक और रिफाइंड शुगर और पैकेट फूड।

फल, सब्जी, और कच्ची सब्जी का जूस को प्रतिदिन ले।

ऐसा करने से पाचन शक्ति मजबूत होगा और आंतों की सफाई हो पाएगी। 

2. सूर्य की रोशनी में 20 मिनट का स्नान सूर्य की रोशनी से करें 5 मिनट सामने 5 मिनट पीछे 5 मिनट दाएं 5 मिनट बाएं भाग में धूप लगाएं।  हमेशा लेट कर लेना चाहिए। धूप की रोशनी लेते वक्त सर और आपको किसी सूती कपड़े से ढक ले। सूर्य नारी मंद होने पर  इन्फेक्शन अधिक होता है अतः आप जब भी सोए अपना दायां भाग ऊपर करके सोए। 

3. प्रतिदिन अपने पेट पर खाने से 1 घंटे पहले या खाना खाने के 2 घंटे बाद गीले मोटे तौलिए को लपेटे एक तौलिया गिला करके उसको निचोड़ लें और हूं उस तौलिए को 20 मिनट तक अपने पेट पर लपेटकर रखें ऐसा करने से आपका पाचन तंत्र दुरुस्त होगा। 

स्पर्श थरेपी करें। मालिश के ज़रिए भी कर सकते है।

तिल के तेल रीढ़ की हड्डी पर घड़ी की सीधी दिशा (clockwise) में और घड़ी की उलटी दिशा (anti clockwise)में मालिश करें। नरम हाथों से बिल्कुल भी प्रेशर नहीं दें।

4. हर 3 घंटे में लंबा गहरा श्वास अंदर लें उसको थोड़ी देर रोकें और फिर सांस को खाली करें। खाली करने के बाद फिर से रुके और फिर लंबा गहरा सांस ले। यह एक चक्र है ऐसा दिन में 10 चक्र करें केवल एक शर्त का पालन करें जब आप लंबा गहरा सांस ले रहे हैं तो अपनी रीढ़ की हड्डी को सीधा रखें ऐसा करने से आपके शरीर में ऑक्सीजन की मात्रा का बढ़ेगी और ऑक्सीजन का संचार सुचारू रूप से हो पाएगा।

5.पृथ्वी - सुबह खीरा 1/2 भाग धनिया पत्ती (10 ग्राम) पीस लें, 100 ml पानी मिला कर पीएँ। यह juice आप कई प्रकार के ले सकते हैं। पेठे (ash guard ) का जूस लें और कुछ नहीं लेना है। नारियल पानी भी ले सकते हैं। पालक  पत्ते धो कर पीस कर 100 ml पानी डाल पीएँ। दुब घास 25 ग्राम पीस कर छान कर 100 ml पानी में मिला कर पीएँ। कच्चे सब्ज़ी का जूस आपका मुख्य भोजन है। 2 घंटे बाद फल नाश्ते में लेना है। 

फल को चबा कर खाएँ। इसका juice ना लें। फल सूखे फल नाश्ते में लें।

दोपहर के खाने में सलाद नट्स और अंकुरित अनाज के साथ  सलाद में हरे पत्तेदार सब्ज़ी को डालें और नारियल पीस कर मिलाएँ। कच्चा पपीता 50 ग्राम कद्दूकस करके डालें। कभी सीताफल ( yellow pumpkin)50 ग्राम ऐसे ही डालें। कभी सफ़ेद पेठा (ash guard) 30 ग्राम कद्दूकस करके डालें। ऐसे ही ज़ूकीनी 50 ग्राम डालें।कद्दूकस करके डालें।कभी काजू बादाम अखरोट मूँगफली भिगोए हुए पीस कर मिलाएँ। 

लाल, हरा, पीला शिमला मिर्च 1/4 हिस्सा हर एक का मिलाएँ। लें। बिना नींबू और नमक के लें। स्वाद के लिए नारियल और herbs मिलाएँ।

रात के खाने में इस अनुपात से खाना खाएँ 2 कटोरी सब्ज़ी के साथ 1कटोरी चावल या 1रोटी लेएक बार पका हुआ खाना रात को 7 बजे से पहले लें।

6. एक नियम हमेशा याद रखें ठोस(solid) खाने को चबा कर तरल (liquid) बना कर खाएँ। तरल  को मुँह में घूँट घूँट पीएँ। खाना ज़मीन पर बैठ कर खाएँ। खाते वक़्त ना तो बात करें और ना ही TV और mobile को देखें।ठोस  भोजन के तुरंत बाद या बीच बीच में जूस या पानी ना लें। भोजन हो जाने के एक घंटे बाद तरल पदार्थ ले सकते हैं।

हफ़्ते में एक दिन उपवास करें। शाम तक केवल पानी लें, प्यास लगे तो ही पीएँ। शाम 5 बजे नारियल पानी और रात 8 बजे सलाद लें।

7. उपवास के अगले दिन किसी प्राकृतिक चिकित्सक के देख रेख में टोना लें। जिससे आँत की प्रदाह को शांत किया जा सके। एनिमा किट मँगा लें। यह किट ऑनलाइन मिल जाएगा। इससे 200ml पानी गुदाद्वार से अंदर डालें और प्रेशर आने पर मल त्याग करें। ऐसा दिन में दो बार करना है अगले 21 दिनों के लिए। ये करना है ताकि शरीर में मोजुद विषाणु निष्कासित हो जाये। इसके बाद हफ़्ते में केवल एक बार लेना है उपवास के अगले दिन। टोना का फ़ायदा तभी होगा जब आहार शुद्धि करेंगे।

धन्यवाद।

रूबी, 

प्राकृतिक जीवनशैली प्रशिक्षिका व मार्गदर्शिका (Nature Cure Guide & Educator)


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